देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन-परिचय | Devkinandan Thakur Biography in Hindi

देवकीनंदन ठाकुर महाराज जी एक गायक और आध्यात्मिक गुरु हैं। इनको आपने YouTube या टीवी में डिबेट करते हुए जरूर देखा होगा। सन 2015 में इनको यूपी रतन पुरस्कार से पूरी तरह सम्मानित भी किया जा चुका है। देवकीनंदन ठाकुर महाराज जी  का जन्म उत्तर प्रदेश के मथुरा के एक छोटे से ओहावा गाँव में 12 सितम्बर 1978 को हुआ। Devkinandan Thakur जी की उम्र जब  6 साल की थी तो यह घर छोड़कर वृंदावन पहुंच गये और वहा पर ब्रज के रासलीला संस्थान में हिस्सा भी ले लिया था।

आज की इस पोस्ट में हम आपको श्री देवकीनंदन ठाकुर महाराज की जीवनी, आयु, परिवार, पत्नी, शिक्षा, जाति,आय, संपत्ति, जर्नी के बारे में कुछ रोचक बाते बताएंगे।

देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय [ Devkinandan Thakur Biography in Hindi ]
देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय

देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय [ Devkinandan Thakur Biography in Hindi ]

Full Name श्री देवकीनन्दन ठाकुरजी
Birth 12 सितम्बर 1978
Age 43 वर्ष
BirthPlace ओहावा गाँव, मथुरा-उत्तर प्रदेश
Profession हिंदू पुराण कथावाचक, गायक और एक आध्यात्मिक गुरु
Caste ब्राह्मण
Religion हिन्दू

Devkinandan Thakur Social Media Accout

Social Media Name User ID
Instagram shridevkinandanthakurjimaharaj
FaceBook Devkinandan Thakur Ji
YouTube Shri Devkinandan Thakur Ji
Twitter @DN_Thakur_Ji

Devkinandan Thakur ji maharaj Birth, Place, Family

श्री देवकीनंदन ठाकुर महाराज जी का जन्म 12 सितंबर 1978 को कृष्ण जी की जन्मभूमि मथुरा  के एक छोटे से गांव ओहावा में एक ब्राहम्ण परिवार में हुआ।

श्री देवकीनंदन ठाकुर महाराज जी के पिता का नाम राजवीर शर्मा और  माता का नाम श्रीमति अनसुईया देवी है और इनसे ही  बचपन से  कृष्ण भक्ति और लोक कथाओं को सुनते हुए इनका बचपन व्यतीत हुआ। Devkinandan Thakur की पत्नी का नाम अंदमाता है तथा इन के पुत्र का नाम देवांश  है। यह अपना जीवन बहोत साधारण तरीके से जीते है जो लोगों के लिए एक प्रेरणा का काम करता है।

देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय [ Devkinandan Thakur Biography in Hindi ]
देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय
Father श्री राजवीर शर्मा
Mother श्रीमति अनसुईया देवी
Wife श्रीमती अंदमाता
son देवांश

Devkinandan Thakur Education, Qualification

देवकीनंदन ठाकुर महाराज जी अंग्रेजी शिक्षा में ग्रेजुएट कंप्लीट किया हुआ है इसके साथ साथ  यह  संस्कृति से जुड़े हुए सभी प्रकार के धर्म ग्रंथों का अध्ययन किया है  तथा देवकीनंदन ठाकुर जी  को मुखजबानी सारे धर्म ग्रंथ याद कर रखे है। इनको वैदिक तथा आध्यात्मिक ज्ञान प्राप्त है तथा मात्र 13 वर्ष की आयु में  श्रीमद्भागवत पुराण को कंठस्थ कर लिया था।
देवकीनंदन ठाकुर महाराज को गुरु आचार्य पुरुषोत्तम शरण शास्त्री जी ने इनका नाम देवकीनंदन ठाकुर महाराज रख दिया तथा उनकी प्रतिभा, बोलने की कला के कारण इन्हें श्रीमद्भागवत पुराण के वाचन का कार्य भी सौंपा गया

Devkinandan Thakur Career Journey

बचपन में ही Devkinandan Thakur के उंदर दिव्य अंतर्दृष्टि और एक महानता के लक्षण दिखाई देने लगे थे, बचपन से यह भगवान कृष्ण जी की लीलाएं तथा उनकी कथाओं को सुनते हुए ही बड़े हुए  तथा सुरुवाती शिक्षा पूरी होने से पहले ही इनके मन पर कृष्ण लीलाओं का प्रभाव इस तरह पड़ा कि मात्र 6 वर्ष की उम्र में देवकीनंदन ठाकुर महाराज अपने घर को छोड़कर वृंदावन आकर कृष्णलीला मंडली में शामिल हो गई।

देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय [ Devkinandan Thakur Biography in Hindi ]
देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय

यह कृष्ण लीला में इस तरह खो जाते थे कि लोगों को कृष्ण की एक मूर्ति लगती थी इस कारण बहोत से लोग इन्हें ठाकुर जी के नाम से भी पुकारना शुरू कर दिया, इसके बाद वृन्दावन में ही श्री वृन्दावनभागवतपीठाधीश्वर श्री पुरूषोत्तम शरण शास्त्री जी महाराज को गुरू रूप में प्राप्त कर प्राचीन शास्त्र-ग्रन्थों की शिक्षा भी प्राप्त की ।

देवकीनंदन ठाकुर ने समाज कल्याण के लिए परोपकार के काम करना सुरू कर दिया तथा समाज में फैली हुई कुरई कुरीतियों को दूर करने के प्रयास करना भी प्रारंभ कर दिया। Devkinandan Thakur ने  सन् 1997 में दिल्ली से इन प्रेरणादायी कथाओं (श्रीमद भागवत कथा, श्री राम कथा, देवी भागवत, शिव कथा, भगवत गीता इत्यादि) का भी प्रारम्भ किया । अब  तक हजारो  कथाओं के माध्यम से महाराज श्री ने जनमानष में आपसी प्रेम, सदभाव, संस्कृति संस्कार के विचार फैला चुके हैं ।

Devkinandan Thakur द्वारा आयोजित कार्यक्रमों में लोग इनकी कथाओं को सुनने के लिए लाखों की जनसैलाब आते है इनके कार्यक्रम में हिंदू मुस्लिम सिख इसाई सभी धर्मों के लोग आते है  तथा इनके द्वारा बताई गई हर बातों को अपनाते भी हैं देवकीनंदन ठाकुर कई कार्यक्रमों के माध्यम से भी लोगों को समाज में फैली हुई बुराइयों को दूर करने के संदेश देते हैं।

देवकीनंदन ठाकुर महाराज ने  20/04/2006 में विश्व शान्ति सेवा चैररिटेबल ट्रस्ट की स्थापना की गई जिसके माध्यम से Devkinandan Thakur भारत के विभिन्न जगहों पर कथाओं एंव शान्ति यात्राओं का आयोजन कर रहे है। इस संस्था के कुछ और भी महान प्रमुख उद्देश्य है जैसे गो-रक्षा अभियान, गंगा यमुना प्रदूषण मुक्त, दहेज प्रथा, जल एवं पर्यावरण संरक्षण, छुआछूत और आज के आधुनिक युग के युवाओं को भारतीय संस्कृति तथा संस्कारो में डालना जैसे प्रमुख उद्देश्य इस सेवा संस्था के हैं।

देवकीनंदन ठाकुर जी द्वारा भगवान राम की कथा और भजन संध्या करने में बहोत विशेषता है महाराज जी के शब्द प्रभावशाली है की बड़ी मात्रा में लोगों को अपनी ओर आकर्षित करते है। देवकीनंदन ठाकुर ने वर्ष 2001 में पहली बार विदेश में भी अपनी कथा का आयोजन किया, इसके बाद हांगकांग, सिंगापुर, मलेशिया, डेनमार्क, स्वीडन और नॉर्वे में कई कथाओं का वाचन किया है।

Devkinandan Thakur ने हिंदू सनातन धर्म का प्रचार करते हुए अब तक करीब 900 से ज्यादा कथाओं का कार्यक्रम कर चुके हैं देवकीनंदन ठाकुर ने गौ माता की सेवा तथा पर्यावरण संरक्षण से संबंधित कई अभियान भी चला रखे हैं।

देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय [ Devkinandan Thakur Biography in Hindi ]
देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय

श्री देवकीनंदन ठाकुर जी से जुड़े कुछ रोचक तथ्य

  • देवकीनंदन महाराज जी मात्र 6 वर्ष की आयु में ही अपना घर छोड़ कर चले गए थे।
  • अब तक देवकीनदन महाराज ने देश विदेश में करीब 900 से ज्यादा कथाएँ कर चुके है।
  • धर्मार्थ कार्यों के लिए देवकीनंदन ठाकुर उत्तरप्रदेश रत्न से भी सम्मानित किया गया है। ये अवॉर्ड उन्हें मुख्यमंत्रीयोगी आदित्यनाथ जी ने दिया था।
  • Devkinandan Thakurने 18 सितंबर 2018 को SC/ST act के खिलाफ प्रदर्शन में जेल भी गए थे।
  • देवकीनंदन ठाकुर जी की Net Worth लगभग5-7 crores है।
  • देवकीनन्दन ठाकुर जीने वृंदावन में एक कृष्ण राधा का मंदिर भी बनाया है जो काफी सुन्दर है।
  • देवकीनंदन महाराजकट्टर हिन्दूवादी है ये हिन्दू धर्म कर प्रचार करते है।
  • देवकीनंदन महाराजकई टीवी डिबेट में लेते है।
  • ये अपनी कथाओ को अपने YouTube चैनल से लाइव चलते भी है।
देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय [ Devkinandan Thakur Biography in Hindi ]
देवकीनंदन ठाकुर महाराज का जीवन परिचय [ Devkinandan Thakur Biography in Hindi ]

Devkinandan Thakur Net worth

Program fee 1 lakh/day
Totel Net Worth INR 5-7 Crores

 

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FAQ

Q:- Devakeenandan thaakur jee ke kitane bachche hain

Ans :- नाम देवांश

Q:- Devakeenandan thaakur family

Ans :- श्री देवकीनंदन ठाकुर के पिता का नाम राजवीर शर्मा तथा माता का नाम श्रीमति अनसुईया देवी है जिनसे यह बचपन से ही कृष्ण भक्ति तथा लोक कथाओं का सुनते हुए बचपन व्यतीत हुआ। Devkinandan Thakur की पत्नी का नाम अंदमाता है तथा इन के पुत्र का नाम देवांश  है।

Q:- Devakeenandan thaakur wife ka name

Ans:- अंदमाता (Andamata)

Q:- Devkinandan thakur age

Ans:- 43 saal

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